सऊदी अरब और लंदन तक भेजे है अपनी सब्जी पंकज राय

सऊदी अरब और लंदन तक भेजे है अपनी सब्जी पंकज राय
जैविक खेती से हो रही है पांच गुना ज्यादा कमाई
गाजीपुर जनपद के करीमुद्दीनपुर के रहने वाले प्रगतिशील किसान पंकज राय ने जैविक खेती को अपनाकर किसानों के लिए आय बढ़ाने की नई राह दिखाई है। उनके खेत की सब्जी विदेशों में भी निर्यात की जा रही है जिससे उनको पांच गुना ज्यादा तक कमाई हुई है।पंकज राय ने लाल भिंडी समेत पीला.बैगनी एवं पांच रंग की गोभी भी क्षेत्र में पहली बार पैदा की थी।
पंकज राय भी चार वर्ष पहले परंपरागत तरीक से खेती करते थे लेकिन इसमें लाभ नहीं था। चार सालों से उन्होंने आधुनिक तरीके से खेती करनी शुरू की।परिणामस्वरूप उनके खेतों की सब्जी लंदन और सऊदी अरब तक भेजी जा चुकी है। वह 10 एकड़ में जैविक विधि से लौकी, बिना बीज का खीरा, स्ट्रॉबेरी, गोभी, टमाटर, लौकी, लाल भिंडी आदि की खेती करते हैं। इसके अलावा लाल, पीला व हरा शिमला मिर्च, पपीता, लतरा केला भी उगा रखा है। उन्होंने केसर की भी खेती की थी। पंकज ने बताया कि वर्ष 2020 में।
*पंकज ने केसर और स्ट्राबेरी की अच्छी उपज लेकर दिखाई किसानों को नई राह*
लॉकडाउन के दौरान जब सारे व्यवसाय बंद हो गए थे। किसान उचित मूल्य नहीं मिलने के कारण फसल पर ट्रैक्टर चलाने को मजबूर हो गए थे। तब पंकज ने लौकी और खीरा को एपीडा (कृषि और प्रसंस्कृत खाद्य उत्पाद निर्यात विकास प्राधिकरण) के माध्यम से सऊदी अरब और लंदन भेजा था। लोग उनके फार्म हाउस से खुद सब्जियां खरीदकर ले जाते हैं।

*पूर्वांचल में पहली बार पंकज ने केशर उगाने में पायी कामयाबी*
पंकज ने बताया कि किसान
कीटनाशक दवाओं का छिड़काव करते हैं, जिससे उपज में भी कीटनाशक आते हैं। कीटों से फसलों को बचाने के लिए वे सिंचाई की पाइप लाइन के माध्यम से पौधों की जड़ों में नीम का तेल डालते हैं। इससे पत्तियां कीटों के लिए कड़वी हो जाती हैं। उन्होंने अपने पॉली हाउस में पीले और नीले कलर की थैलियां टांगी है जिसमें विशेष प्रकार की जेली डाली जाती है.कीट इस नीले और पीले रंग से आकर्षित होकर इन प्लास्टिक की थैलियों के पास पहुंचते हैं और जेली से चिपक जाते हैं.इस समय पंकज राय के खेत में लाल पीला हरा शिमला मिर्च और खीरा निकल रहा है.